
कृषि कानून वापसी का फैसला किसानों की जीत, मगर एमएसपी पर भी कानून जरूरी, डेढ़ साल के इस आंदोलन में सैकड़ों किसानों की शहादत होने …..शंकर लाल अग्रवाल
रायगढ़।
केंद्र की मोदी सरकार ने शुक्रवार को किसानों के लिए बनाए गए तीनों कृषि कानून को वापस लेने का ऐलान किया है। प्रधानमंत्री के ऐलान के बाद से ही देश में लोग इस फैसले को देश के अन्नदाताओं की जीत के रूप में देख रहे हैं। हालांकि किसानों के डेढ़ साल के इस आंदोलन में सैकड़ों किसानों की शहादत होने की घटना भी देश के सामने हैं। एलान के बाद से ही देशभर में इस मामले को लेकर अलग-अलग प्रतिक्रियाएं सामने आ रही है।
इस मामले में रायगढ़ जिला कांग्रेस कमेटी के कोषाध्यक्ष शंकरलाल अग्रवाल ने भी अपनी प्रतिक्रिया देते हुए बताया कि तीनों कृषि कानून वापस लिए जाने का फैसला किसानों के एकता और आंदोलन की जीत है। उन्होंने कहा कि अभी देश में एमएसपी पर भी कानून बनना जरूरी है एमएसपी पर कानून आंदोलनरत किसानों के शहादत पर सच्ची श्रद्धांजलि होगी। शंकर अग्रवाल ने बताया की केंद्र सरकार द्वारा लाया गया यहां कानून किसान विरोधी था जिसका शुरू से ही किसान विरोध कर रहे थे। परंतु केंद्र सरकार के हठधर्मिता के कारण मोदी सरकार इस फैसले को बदलना नहीं चाहती थी जिस कारण सैकड़ों किसानों की आंदोलन के दौरान शहादत हो गई।
देशभर में खड़े हुए किसान आंदोलन और कई राज्यों में भाजपा की करारी हार ने भाजपा को बता दिया कि देश में अन्नदाताओं और जन भावनाओं का अनादर करना उन्हें महंगा पड़ सकता है। पंजाब उत्तर प्रदेश सहित कई राज्यों में चुनाव होने हैं ऐसे में हार के डर से भाजपा के केंद्र सरकार ने किसानों पर थोपे गए तीनों किसी कानून को वापस लेने का ऐलान किया है रायगढ़ क्षेत्र के लोकप्रिय नेता शंकर अग्रवाल ने कहां की केंद्र की भाजपा सरकार किसानों से जुड़े दूसरे मुद्दों पर भी किसानों से बातचीत कर न्यूनतम समर्थन मूल्य पर भी कानून बनाने की दिशा में कदम उठाएं।