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अवैध सोनोग्राफी सेंटर दोबारा सील होने के बाद भी अब तक कोई कार्यवाही नहीं.. पीसी एंड पीएनडीटी एक्ट के अंतर्गत होनी थी कार्यवाही..

सीएमएचओ कह रहे नोडल अधिकारी बीएमओ करेगा कार्यवाही..

  • बीएमओ कह रहे हैं मुझे नहीं बनाया गया है नोडल अधिकारी..
  • एसडीएम कह रहे है स्वास्थ्य विभाग करेगा कार्यवाही..
  • अब तक कार्यवाही ना होने से मामला बना संदेहास्पद..
कमलेश शर्मा
कोरिया जिले के छोटी बाजार चिरमिरी इससे जैन क्लिनिक के संचालक आर सी जैन द्वारा पूर्व में स्वास्थ्य महकमे द्वारा लगाई गई सील को तोड़ कर अवैध रूप से सोनोग्राफी का संचालन खुलेआम किया जा रहा था, इसकी जानकारी मिलने के बाद ही न्यूज़-११ की टीम ने इसका स्टिंग किया था। जिसमें डॉक्टर आरपी जैन ने ₹25000 लेकर  लिंग परीक्षण करने के बाद  लड़की होने पर गर्भपात कराने की बात कही थी । जिसके बाद स्वास्थ्य विभाग ने पुनः क्लीनिक और सोनोग्राफी सेंटर को सील करने  की कार्यवाही की थी।
 यह कार्यवाही 8 अगस्त को की गई थी लेकिन इससे 10 दिन बीत जाने के बाद भी दोषी डॉक्टर आरपी जैन के खिलाफ अभी तक किसी प्रकार कोई आपराधिक मामला दर्ज नहीं किया गया है।
जबकि इस पूरे मामले में और पीसी एंड पीएनडीटी एक्ट के अंतर्गत कार्रवाई किए जाने का प्रावधान है जिसमें 7 वर्ष की सजा भी हो सकती है। लेकिन बावजूद इसके 10 दिन बाद भी दोषी डॉक्टर के खिलाफ कोई कार्यवाही ना होना स्वास्थ विभाग व जिला प्रशासन के सिस्टम में कहीं ना कहीं कमी को उजागर करता है।
डॉक्टर जैन
 जब इस संबंध में जिला सीएमएचओ डॉ रामेश्वर शर्मा से बात की गई तो उन्होंने कहा कि इसके लिए नोडल अधिकारी बीएमओ डॉक्टर कुजूर को बनाया गया है और कार्यवाही नही करना है।
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जबकि इस संबंध में बीएमओ डॉ कुजूर का कहना है कि मुझे किसी प्रकार का कोई नोडल अधिकारी नहीं बनाया गया है मैंने जांच रिपोर्ट एसडीएम चिरमिरी को सौप दी है। अब कार्यवाही उन्हें करना है।
वही इस संबंध में डीएम दशरथ सिंह का कहना है कि पूरे मामले में स्वास्थ विभाग की तरफ से मामला दर्ज किया जाना है यह उनकी जिम्मेदारी है।
वही संबंध में जिला कलेक्टर डोमन सिंह ने कहा है कि  जिला प्रशासन ने एसडीएम को इस मामले में कार्यवाही के लिए अधिकृत किया है।
कुल मिलाकर देखा जाए तो या तो सीएमएचओ झूठ बोल रहे हैं या फिर बीएमओ डॉ कुजुर झूठ बोल रहे हैं।  अब सवाल यह उठता है कि 10 दिन बीत जाने के बाद भी डॉक्टर आरपी जैन के खिलाफ कार्रवाई करने में स्वास्थ्य महकमे के हाथ पैर क्यों फूल रहे हैं। और मामले को एक दूसरे के ऊपर डाल कर कुल मिलाकर स्वास्थ्य विभाग ने अब खुद ही इस पूरे मामले को संदेहास्पद बना दिया है।
 आपको बता दे कि कोरिया जिले के छोटी बाजार चिरमिरी स्थित क्लीनिक में 8 अगस्त को को एसडीएम, पुलिस व स्वास्थ्य महकमे की टीम ने छापा मारकर अवैध रूप से चल रहे जैन क्लीनिक व सोनोग्राफी सेंटर को सील कर दिया था। इस क्लीनिक को डॉ. आरसी जैन चला रहा था। जो बीएएमएस डिग्री धारक है और क्लीनिक में मरीजो को अंग्रेजी दवा देने के साथ उन्हें भर्ती भी करता था। इतना ही नही 2017 में  उक्त क्लीनिक को स्वास्थ्य विभाग ने लायसेंस न होने कारण सील कर दिया था। इसके बावजूद डॉक्टर आरसी जैन सील तोड़कर कार्य कर रहा था।
सूचना मिलने के बाद स्वास्थ्य महकमे की टीम ने जांच में पाया कि जैन क्लीनिक में 21.9 . 2017 को स्वास्थ विभाग की टीम ने छापा मारकर अवैध रूप से सोनोग्राफी करने के आरोप में सोनोग्राफी मशीन को व कमरे को सील कर दिया था। इसके बावजूद डॉक्टर जैन द्वारा सील को तोड़कर सोनोग्राफी किया जा रहा है। सोनोग्राफी वाले कमरे की सील को तोड़ने से संबंध में डॉ जैन कोई स्पष्ट जानकारी नहीं दे सके। इसके बाद स्वास्थ विभाग से आरएनएमसीएचए सलाहकार डॉ. प्रिंस जायसवाल भी पहुंच गए थे। जहाँ उन्होंने जांच में पाया था कि क्लीनिक संचालित करने के संबंध में किसी भी प्रकार का कोई दस्तावेज या लाइसेंस नहीं है, नर्सिंग होम एक्ट के पालन नही, सोनोग्राफी सेंटर चलाने के लिए कोई भी लाइसेंस या अनुमति नहीं है मशीन का मॉडल नंबर, बिल नहीं है,  क्लीनिक पर बहुत बहुतायत मात्रा में अंग्रेजी दवाई की पाई गई। जिसके बाद उच्च अधिकारियों के निर्देश पर सोनोग्राफी क्लिनिक सील कर दिया गया था।

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