
वरिष्ठ कार्यकर्ताओं की कद्र करना कोई गुलाब कमरो से सीखे…विधायक बनने के बाद भी लोगों को देते हैं सम्मान…
अनूप बड़ेरिया
जमीनी कार्यकर्ता से विधायक व राज्यमंत्री तक का सफर गुलाब कमरो ने यूं ही तय ही नही की है। इसके पीछे बड़े संघर्ष की गाथा है। उनके साथ के लोगो ने भी बड़ी ईमानदारी के साथ गुलाब कमरो का साथ दिया। यही वजह है कि विधायक बनने व राज्यमंत्री का दर्जा मिलने के बाद भी गुलाब कमरो अपने संघर्ष के दिनों के साथियों को कभी नही भूले हैं। हर अवसर पर उनको याद करना उनका सम्मान करना और उनको सम्मान दिलाना… कुछ इसी तरह 1 नवम्बर को राज्य उत्सव के शुभारंभ अवसर पर जब मुख्य अतिथि के रूप में गुलाब कमरो मंचासीन थे, उसी वक्त सोनहत क्षेत्र के कद्दावर नेता व जनपद पंचायत सोनहत के पूर्व अध्यक्ष कृष्णा राजवाड़े कार्यक्रम में पहुंचे और मंच के सामने दर्शक दीर्घा में जा कर बैठ गए…उसी वक्त गुलाब कमरो की नजर कृष्णा राजवाडे पर पड़ी। उन्होंने फौरन वरिष्ठ कांग्रेसी कृष्णा राजवाडे को बकायदा मंच पर बुलाकर उनको अपने पास बैठाया। इतना ही नही मंच पर उन्हें स्मृति चिन्ह देकर समम्मानित भी कराया। जिसकी प्रशंसा सभी ने की।