
बरौद विस्थापित परिवारों की विस्थापन लाभ के लिए एसईसीएल की बरौद खुली खदान में होगा आन्दोलन …मांगे पुरी नहीं होने पर 6 जुलाई से करेंगे खदान बंद …प्रभावितों का क्षेत्रीय विधायक लालजीत सिंह राठिया एवं रायगढ़ सासंद गोमती साय के प्रति नाराजगी
एसईसीएल के संचालित कोरबा जिले के खदानों पर विस्थापन लाभ 10 लाख से अधिक एवं रायगढ़ जिले के बरौद खदान पर मात्र 3 लाख,
रायगढ़ ।
एसईसीएल के बरौद कोल ब्लॉक प्रभावितों द्वारा अपनी मांगो को लेकर एक बार फिर से मुखर हो गए हैं। अपनी मांगो को लेकर एसडीएम को ज्ञापन सौंप कर मांगे पूरी करने कहा गया है। मांगे पूरी नहीं होने पर प्रभावितों के द्वारा आंदोलन का शंखनाद किया जाएगा। प्रभावितों की मांगे पुरी नहीं होने पर बरौद के समस्त विस्थापित परिवारों द्वारा 6 जुलाई गुरूवार से बरौद खदान के मुख्य गेट पर अनिश्चित कालीन धरना प्रदर्शन , आर्थिक नाकाबंदी , काम रोको आंदोलन किया जावेगा ज्ञापन के माध्यम से शासन प्रशासन तथा प्रबंधन को आन्दोलन की सूचना दिया जा चुका है । प्रभावितों का क्षेत्रीय विधायक लालजीत सिंह राठिया एवं रायगढ़ सासंद गोमती साय के प्रति नाराजगी देखा जा रहा है।
जिले के धरमजयगढ़ स्थित ग्राम बरौद को एसईसीएल द्वारा कोल बेरिंग एक्ट के तहत अर्जन एवं विकास अधिनियम 1957 की धारा 9(1) की अधिसूचना भारत के राजपत्र में प्रकाशन 25 दिसंबर 2010 के तहत् भू -अर्जन तथा छत्तीसगढ़ शासन के आदर्श पुनर्वास निति एवं कोल इंडिया पुर्नस्थापना निति के तहत् विस्थापन किया जा रहा हैं। जिसमे 331 परिवारों को विस्थापित किया जाना है । ग्राम बरौद के विस्थापित परिवारों का विस्थापन लाभ कोल इंडिया के नियमानुसार तथा जिला पुर्नवास समिति मे तय व जानकारी देकर 03 लाख निर्धारित किया गया है । जबकि एसईसीएल के कोरबा जिला के संचालित खदानों में दिपका परियोजना एवं अन्य परियोजनाओं के लिए बसाहट के लिए विस्थापित परिवारों का विस्थापन लाभ 03 लाख था जिसें एसईसीएल द्वारा संसोधित कर 10 लाख रूपया से अधिक निर्धारित किया गया है तथा सम्पूर्ण ग्राम के समस्त पात्र भू-विस्थापित एसईसीएल की भूमि /भू खण्ड पर नही जाते है तो 5 लाख अतिरिक्त पारितोषिक/प्रोत्साहन राशि का नियम लागू किया गया है । जो बरौद विस्थापित परिवारों का भी बसाहट पुर्नवास राशि 10 लाख रूपया प्रदान किया जावे तथा बरौद विस्थापित परिवार भी एसईसीएस के भूमि /भू -खण्ड पर नही जाना चाहते है पारितोषिक /प्रोत्साहन राशि के रूप में अतिरिक्त 5 लाख प्रदान किया जावे ।
*क्या कहते है एसईसीएल रायगढ़ क्षेत्र के कार्मचारी -* ग्रामीणों को भ्रमित जानकारी देते हुये एसईसीएल के आलाअधिकारियों द्वारा जानकारी दिया जाता है की कोरबा जिले के संचालित खदान दिपका परियोजना एवं अन्य परियोजनाओं में कोयले का सीम /लेयर अधिक होने तथा उत्पादन अधिक होने से वहाँ के विस्थापित परिवारों को विशेष पुर्नवास निति लागू कर वहाँ के विस्थापित परिवारों को विस्थापन लाभ अधिक प्रदान किया जा रहा ।
*क्या कहते है ग्रामीण-* ग्रामीणों ने कहा की एसईसीएल के कोरबा जिले के संचालित खदानों में विस्थापित परिवारों का विस्थापन लाभ 10 लाख है । जो वहाँ भी पहले 03 लाख ही था अभी अभी एसईसीएल द्वारा नियम में संसोधित कर 10 लाख किया गया है तथा पारितोषिक /प्रोत्साहन के रूप मे अतिरिक्त 5 लाख किया गया है हमारे यहाँ भी 03 लाख है उसे संसोधन कर लाभ प्रदान किया जावे । रही बात कोयले की सीम /लेयर उत्पादन अधिक करने की तो ये हमारे साथ गलत हो रहा है जो बड़ी दुख की बात है । ग्रामीणों ने नाराजगी जाहिर करते हुये कहाँ की हमारी समस्याओं को प्रशासन के ओर से एस.डी.एम घरघोड़ा द्वारा गंभीरतापूर्वक ध्यान नही दिया जा रहा है ना राज्य सरकार ना केन्द्र सरकार अब हमारे पास एक ही रास्ता है एसईसीएल मुख्य गेट पर परिवार सहित अनिश्चित कालीन हड़ताल करने की ।