
काम से निकाले जाने से क्षुब्ध रातों रात लखपति बनने की चाहत ने पहुंचाया सलाखों के पीछे …..मासूम को पेशेवर गैंग को सौंप कर 25 लाख फिरौती की थी योजना ….एसपी आईजी का अनुभव आया काम 8 घंटे में सफल हुआ ऑपरेशन शिवांश
रायगढ़ में किडनैपिंग की सूचना के महज 8 घंटे के भीतर अपहृत बालक किडनैपर्स के चंगुल से सकुशल बरामद
रायगढ़ ।
रायगढ़ जिले के खरसिया क्षेत्र के व्यापारी के
6 वर्षीय बालक शिवांश अग्रवाल के अपहरण के मामले में पुलिस ने 8 घंटे में आरोपियों के कब्जे से बालक की सकुशल बरामदगी की गई है । अपहरण की सूचना मिलते ही रायगढ़ एसपी सन्तोष सिंह रेंज आईजी रतनलाल डांगी के मार्गदर्शन में रातोंरात 7 टीम बनाकर सीसीटीवी फुटेज के आधार पर संदिग्धों की तलाश में जुट गई थी। डीजीपी डीएम अवस्थी द्वारा बालक को सकुशल बरामद करने वाली टीम के लिये 01 लाख रूपये इनाम की घोषणा की गई हैं ।
अपहृत बच्चे की सकुशल बरामदगी पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल और गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू एवं मुख्यमंत्री आफिस द्वारा ट्वीट कर रायगढ़ पुलिस को बधाई दी गई है ।
दरअसल काम से निकाले जाने के खुन्नस और शीघ्र लखपति बनने के इरादे से जांजगीर बाराद्वार निवासी खिलावन महंत खरसिया क्षेत्र के व्यापारी के 6 वर्षीय बालक शिवांश अग्रवाल का अपने साथियों के साथ अपहरण कर अपने षड्यंत्र अनुसार बालक को झारखंड के पेशेवर गिरोह को सुपुर्द करने के लिये उनके सम्पर्क में थे , उनकी आगे की प्लालिंग अपहृत बालक के परिजनों से 25 लाख रुपए फिरौती की डिमांड करने की थी, जिनके इरादों पर पानी फेरते हुए रायगढ़ पुलिस, झारखंड पुलिस की मदद से घटना की सूचना के महज 8 घंटे के भीतर ऑपरेशन शिवांश चलाकर बच्चे को सकुशल बरामद किया गया।
पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार 20 फरवरी के शाम-रात पुलिस चौकी खरसिया में व्यवसायी रमेश कुमार अग्रवाल छपरीगंज खरसिया उनके घर में रसोईया का काम करने वाले निखिल महंत उर्फ खिलावन बाराद्वार जिला जांजगीर चांपा द्वारा उसके 06 वर्षीय पोते शिवांश अग्रवाल पिता राहुल अग्रवाल को बिना बताये मोटर सायकल में बिठाकर कहीं ले जाने की रिपोर्ट दर्ज कराया । रिपोर्टकर्ता बताया कि निखिल महंत को कुक के काम पर रखे थे, आवश्यकता नहीं होने पर 18 फरवरी 2021 को उसका बाकी रूपया देकर उसकी काम छुड़ा दिया था और वह पैसा लेकर वह चला गया था । घटना दिनांक 20 को निखिल महंत घर आया और मोबाईल चार्जर उपर कमरा में छूट गया है कहकर उपर कमरे में गया और नीचे आकर शिवांश को बुलाकर चलो चिप्स दुंगा कहकर शाम करीब 5:30 बजे अपने साथ मोटर साईकल में बिठाकर ले गया करीब 7:30 बजे तब वापस नहीं आने पर बालक की खोजबिन किये और अनहोनी की अंदेशा भांप कर पुलिस चौकी खरसिया में सूचना दिया गया।
वहीं घटना की सूचना मिलते ही रायगढ़ एसपी संतोष सिंह जिले में नाकेबंदी का पांइट देकर तुरंत खरसिया चौकी पहुंचे । एडिशनल एसपी अभिषेक वर्मा को रायगढ़ मुख्यालय में सायबर टीम के साथ संदेही का लोकेशन ट्रेश करने व सीमावर्ती जिलों के थाना प्रभारियों से संपर्क करने की जिम्मेदारी सौंपे । एसडीओपी खरसिया पितांबर पटेल को अनुविभाग के अलग-अलग अधिकारियों की टीम बनाकर जांच में मिली जानकारी के अनुसार शीघ्र अलग-अलग दिशाओं में टीम रवाना किये । घटना की सूचना पाकर रात ही में बिलासपुर आईजी रतनलाल डांगी खरसिया पहुंचे व मामले की पूरी जानकारी लेकर अधिकारियों को महत्तवपूर्ण दिशा निर्देश दिए। डीजीपी डी एम अवस्थी द्वारा मामलें में आवश्यक निर्देश दिए जाते रहे। रायगढ़ एसपी द्वारा बनाई गई टीमों में चौकी प्रभारी खरसिया के हमराह में स्टाफ मुख्य संदेही खिलावन महंत के गृहग्राम बाराद्वार एवं पामगढ़ की ओर रवाना किया गया । एडिशनल एसपी रायगढ़ से मिल रही जानकारी व क्लू के आधार पर दो इंस्पेक्टर को घन्टें भर के अंदर रायगढ़-झारखंड के रास्ते रवाना किया गया। एसडीओपी खरसिया के साथ अन्य स्टाफ संदेही के लोकल संपर्क सूत्रों के यहां लगातार छापेमारी की जा रही थी । तभी आरोपियों के सुनियोजित तरीके से घटना को अंजाम देने की जानकारी सामने आई ।
एसपी रायगढ़ सभी पहलुओं को बारीकी से जांच कर आरोपियों के बिहार, झारखंड, उड़ीसा जाने की संभावना को देखते हुए इन राज्यों की पुलिस से कोऑर्डिनेट कर इन राज्यों की पुलिस के अलर्ट कर संदेहियों का डिटेल शेयर किया गया व नाकेबंदी का अनुरोध किये जिनसे काफी मदद मिली । झारखंड के सभी संबंधित एसपी से लगातार संपर्क करते रहें व रायगढ़ की पीछा करने वाली टीम को निर्देशित किया। इसी बीच आरोपियों के अर्टिगा कार से खूंटी झारखंड की ओर जाने की जानकारी मिली। खरसिया से रवाना हुई 2 इंस्पेक्टरों की टीम इस कार का पीछा कर रही थी । आगे इस टीम द्वारा झारखण्ड के खूंटी पुलिस को कार एवं संदेहियों का हुलिया बताकर नाकेबंदी का पाइंट दिया गया जिस पर खूंटी पुलिस द्वारा आरोपियों की कार को रोका गया और पीछे-पीछे तभी रायगढ़ पुलिस की टीम पहुंची । जहां आरोपियों के कब्जे से बालक शिवांश को सकुशल बरामद कर खरसिया लाया गया है । आरोपियों से प्रारंभिक पूछताछ में आरोपियों द्वारा 25 लाख फिरौती के लिए बालक का अपहरण करने की बात बताई जा रही है, इस कार्य के लिए वे झारखंड के एक पेशेवर गिरोह के संपर्क में थे ।
खरसिया पुलिस घटना में प्रयुक्त मारुति अर्टिगा कार की तलाशी लेने पर कार अंदर एक प्लास्टिक बोरी, गमछा, एक छोटी शीशी में क्लोरोफॉर्म, रस्सी, बोरी, मिक्चर, बिस्किट, चिप्स, पानी बॉटल मिला है, जिसे जप्त किया गया । आरोपी खिलावन दास महंत के मेमोरेंडम पर आरोपी द्वारा गाड़ी में छिपा कर रखी हुई चाकू तथा आरोपी अमर दास महंत एक चाकू निकालकर पेश किये, जिसे भी वजह सबूत जप्त किया गया । आरोपी खिलावन बाइक किसी अन्य व्यक्ति को देना बताया है जिसकी बरामदगी की जा रही है । घटना में साक्ष्य अनुरूप धारा 368, 120(बी), 34 भादवी, 25 आर्म्स एक्ट जोड़ी गई है । आरोपी खिलावन दास महंत उर्फ निखिल निवासी सरवानी थाना बाराद्वार जिला जांजगीर चांपा, अमर दास महंत नवापारा खरसिया यह झारखंड के रांची आना-जाना करता था तीसरा संजय सिदार पिता छेदीलाल सिदार नवापारा खरसिया पुलिस आरोपियों का पुलिस रिमांड लेकर आरोपियों से विस्तृत पूछताछ की जा रही है ।
बिलासपुर आईजी रतनलाल डांगी एवं एसपी रायगढ़ संतोष कुमार सिंह के मार्गदर्शन पर एडिशनल एसपी रायगढ़ अभिषेक वर्मा, एसडीओपी खरसिया पितांबर पटेल तथा अनुविभाग के थाना, चौकी प्रभारियों, सायबर सेल एवं स्टाफ की त्वरित कार्यवाही से घटना का शीघ्र पटाक्षेप हुआ है ।
डीजीपी डी.एम. अवस्थी द्वारा झारखंड पुलिस को सहयोग के लिये आभार व्यक्त किया गया है । उन्होंने ट्वीट पर रांची, खूंटी, सिमडेगा पुलिस को सहयोग के लिये धन्यवाद दिये हैं। रायगढ़ पुलिस को मिली सफलता पर डीजीपी डीएम अवस्थी द्वारा बालक को सकुशल बरामद करने वाली टीम के लिये 01 लाख रूपये इनाम की घोषणा की गई हैं । आई जी बिलासपुर ने 10 हजार रुपये इनाम की घोषणा किये।