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चुनाव::निर्दलीय नहीं लगेंगी नूरजहाँ…पूर्व भाजपा जिलाध्यक्ष की धर्मपत्नी का पार्टी ने काटा टिकट…कहा-पति ने पार्टी को खून-पसीने से सींचा…भाजपा के खिलाफ नही…लेकिन संगठन दे रहा परिवारवाद को बढ़ावा…अभी भी BJP से टिकट की उम्मीद…

अनूप बड़ेरिया
पूर्व नपा अध्यक्ष व पूर्व भाजपा जिलाध्यक्ष स्व.तीरथ गुप्ता की धर्मपत्नी श्रीमती नूरजहाँ ने बैकुंठपुर नगरपालिका चुनाव में भाजपा से टिकट नही मिलने के बावजूद आज निर्दलीय चुनाव नहीं लड़ने की घोषणा की है। उल्लेखनीय है कि नूरजहां ने वार्ड क्रमांक 12 से भाजपा की ओर से अपनी उम्मीदवारी पेश की थी, लेकिन भाजपा ने उन्हें टिकट नहीं दिया। आज आयोजित एक प्रेस वार्ता में उन्होंने कहा कि पार्टी की अपील समिति में उन्होंने अपील की है और आशा है कि उन्हें टिकट जरूर मिलेगी। इसके बाद भी अगर टिकट नहीं मिलती है तो वह निर्दलीय चुनाव नहीं लड़ेंगी। पूर्व नपा अध्यक्ष व पूर्व भाजपा जिला अध्यक्ष स्वर्गीय तीरथ गुप्ता की धर्मपत्नी नूरजहां ने कहा कि पार्टी के वरिष्ठ लोगों, वार्ड तथा शहर के लोगों की मंशा के अनुरूप मैंने भाजपा से टिकट की दावेदारी की थी। उन्होंने कहा कि जब पूर्व में चुनाव की घोषणा हुई थी, तब स्वर्गीय तीरथ गुप्ता जी ने मुझसे कहा था कि अब तुम्हें राजनीति में आगे आना है और मेरे सपनों को साकार करना है। शहर को सुंदर और व्यवस्थित बनाने का मेरा सपना है, इस सपने को तुम्हें पूरा करना है। उन्होंने कहा कि स्व. स्वर्गीय तीरथ गुप्ता ने शहर का जो विकास किया है, वह आज तक किसी ने नहीं किया। घड़ी चौक कांप्लेक्स, नया बस स्टैंड, मुक्तिधाम, चिल्ड्रन पार्क, नया नगर पालिका काम्प्लेक्स, मानस भवन, मल्टी जिम, लाइब्रेरी, अनेक शॉपिंग कंपलेक्स, सांस्कृतिक भवन, मुस्लिम और ईसाई धर्म का कब्रिस्तान इत्यादि जैसे अनेकों विकास कार्य उन्होंने किए। इन सभी बातों पर विचार करने के बाद अपनी पार्टी के सभी वरिष्ठ पदाधिकारियों की मंशा के अनुरूप मैंने पार्टी से टिकट हेतु आवेदन किया। लेकिन जिस व्यक्ति ने भाजपा को बढ़ाने के लिए अपना पूरा जीवन न्यौछावर कर दिया, उस व्यक्ति की धर्मपत्नी को आज एक पार्षद का छोटा सा टिकट नहीं दिया जा रहा है। वहीं उन्होंने कहा भाजपा के संगठन के लोगों के द्वारा परिवारवाद को बढ़ावा देते हुए एक ही परिवार में पति और पत्नी दोनों को टिकट दिया गया है। जिले में संगठन पार्टी की विचारधारा के विपरीत और रीति-नीति के विपरीत कार्य कर रही है। जिससे मुझे काफी दुख हुआ है। उन्होंने आगे कहा कि मैंने अभी अपनी समिति में अपनी दावेदारी रखी है मुझे पूरा विश्वास है पार्टी मेरे साथ न्याय करेगी। इसके बावजूद यदि मेरे पक्ष में निर्णय नहीं होता है तो मैं ऐसा कोई काम बिल्कुल नहीं करूंगी कि जिस बगिया को मेरे पति ने खून पसीने से सींच कर तैयार किया। उसे कोई नुकसान पहुंचे या तीरथ गुप्ता जी की आत्मा को दुख पहुंचे। मैं निर्दलीय चुनाव नहीं लड़ूंगी, लेकिन आप सभी के साथ मिलकर मैं अन्याय के खिलाफ आवाज उठाते रहूंगी।

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