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बिहान योजना से जुड़कर ग्रामीण महिलाओं की बदली जिंदगी कलेक्टोरेट में लगी बिहान की फोटो प्रदर्शनी 

रायगढ़, 6 जुलाई2021/ राज्य के प्रत्येक ग्रामीण गरीब परिवारों से कम से कम एक महिलाओं को स्व- सहायता समूह से जोडऩा, उन्हें अधोसंरचना उपलब्ध कराना एवं उनकी वार्षिक आय में वृद्धि कराना बिहान योजना का महत्वपूर्ण ध्येय है। बिहान योजना महिलाओं को स्व-रोजगार से जोड़कर स्वावलंबी बनाने में सबसे बेहतर दिशा प्रदान कर रही है। बिहान योजना का लोगों तक अधिक से अधिक प्रचार-प्रसार हो इस उद्देश्य को लेकर जिला पंचायत रायगढ़ द्वारा कलेक्टोरेट कैम्पस में फोटो प्रदर्शनी लगाई गई है। जिसमें महिलायें समूह के माध्यम से विभिन्न आयमूलक गतिविधियों से जुड़ी नजर आ रही है। कलेक्टोरेट परिसर में अब प्रत्येक सप्ताह अलग-अलग विभागों से जुड़े विकास कार्यों की फोटो प्रदर्शनी लगाई जाएगी।
उल्लेखनीय है कि छत्तीसगढ़ सरकार ग्रामीण आजीविका मिशन योजना के तहत ग्रामीण क्षेत्र की गरीब महिलाओं को आर्थिक रूप से संपन्न करने के लिए बिहान योजना से जोड़कर उन्हें रोजगार मूलक कार्य उपलब्ध करा रही है। इस योजना ने ग्रामीण महिलाओं की जिंदगी बदल दी है। स्व-सहायता समूह के रूप में संगठित कर उन्हें आवश्यक प्रशिक्षण देकर स्वरोजगार प्रदान किया जा रहा है। आज महिलाएं राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन बिहान योजना से जुड़कर स्वरोजगार की ओर अग्रसर होकर अपने सपने को साकार कर रही हैं।
फोटो प्रदर्शनी से स्पष्ट नजर आ रहा है कि कैसे अलग-अलग समूहों में महिलायें आयमूलक गतिविधियों से जुड़ी हुई है। जैसे प्रिंटिग प्रेस कार्य करना, मछली पालन, दोना-पत्तल बनाना, आम उत्पादन, कोसा और सामूहिक बाड़ी विकास कार्य, ट्री गार्ड बनाने जैसे कार्य शामिल है। बिहान योजना से जुडऩे के बाद घरघोड़ा विकासखण्ड के ग्राम अमलीडीह की महिलायें प्रिटिंग प्रेस का कार्य कर लाखों रुपये की कमाई कर रही है। उन्हें सामूहिक प्रिटिंग प्रेस का कार्य करने के कारण ग्रामीण स्वरोजगार प्रशिक्षण संस्थान रायगढ़, मनरेगा विभाग आडिट बुक तथा अन्य स्टेशनरी दुकानों से रजिस्टर छपाई का आर्डर मिलने लगा। इसी तरह जनपद पंचायत पुसौर के ग्राम रनभांठा की सरस्वती महिला स्व-सहायता समूह वर्तमान में मछली पालन का कार्य कर रही है। समूह की महिलायें 6 हेक्टेयर का तालाब ग्राम पंचायत के माध्यम से लीज में लिया था और इसमें प्रतिवर्ष मछली पालन का कार्य करती आ रही है। जिससे उन्हें अच्छा लाभ मिल रहा है। बिहान योजना से ही जुड़कर लैलूंगा विकासखण्ड की महिलायें आम के उत्पादन के साथ उनकी तोड़ाई, छटाई एवं पैकेजिंग का प्रशिक्षण प्राप्त कर पिछले तीन सालों में करीब साढ़े पांच लाख रुपये कीमत के लगभग 20 टन आम बाजार में विक्रय कर चुकी है। विकासखण्ड खरसिया की नारायणी स्व-सहायता समूह की महिलायें बांस एवं ट्री गार्ड कार्य कर रही है। समूह की महिलायें बास एवं ट्री गार्ड कार्य करते दो वर्ष से अधिक हो चुका है। इस कार्य से वे अब तक साढ़े चार लाख रुपये से अधिक की आय अर्जित कर चुकी है।
लॉकडाउन में बैंक सखियों ने किया 13 करोड़ से अधिक का लेनदेन
कोरोना काल में आपदा की इस घड़ी में बैंक सखियां विभिन्न माध्यमों से गांव के जरूरतमंदों  तक घर पहुंच विभिन्न प्रकार के वित्तीय सहायता प्रदान कर रही है। जैसे मनरेगा भुगतान, पेंशन भुगतान, धान बोनस प्रधानमंत्री जनधन खातों का भुगतान शामिल है।
महा टीकाकरण अभियान को सफल बनाने महिला शक्ति ने दिखाया दम
जिले में 26 जून को कोविड से बचाव के लिये जिले में महा टीकाकरण अभियान चलाया गया। उक्त अभियान की सफलता में एनआरएलएम बिहान योजना के सभी कैडर और स्व-सहायता समूह की महिलाओं की भी महत्वपूर्ण सहभागिता रही। महिलाओं ने गांव-गांव में वैक्सीनेशन के लिये जागरूकता का प्रसार करने व लोगों को टीकाकरण केन्द्र तक पहुंचाने में बड़ी भूमिका निभाई।

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