
शोध डिज़ाइन और डेटा विश्लेषण पर डॉ. संजय कुमार यादव का ज्ञानवर्धक एवं प्रेरणादायक व्याख्यान ….कौशल विकास और ज्ञान विनिमय का एक प्रभावी मंच
रायपुर।
डॉ. संजय कुमार यादव, सहायक प्रोफेसर, प्रबंधन संकाय , सर पदमपत सिंघानिया विश्वविद्यालय, उदयपुर ने शेषाद्रिपुरम इवनिंग कॉलेज, बेंगलुरु द्वारा आयोजित 7-दिवसीय अंतरराष्ट्रीय फैकल्टी डेवलपमेंट प्रोग्राम (FDP) में अपने बहुमूल्य योगदान से कार्यक्रम को समृद्ध किया।
21 मार्च को, डॉ. यादव ने शोध डिज़ाइन और डेटा विश्लेषण पर एक ज्ञानवर्धक और प्रेरणादायक व्याख्यान दिया, जिसमें उन्होंने प्रतिभागियों को अपने शोध क्षेत्र में विशेषज्ञता से लाभान्वित किया।
डॉ. यादव ने अपने सत्र की शुरुआत आयोजक समिति और संयोजक को धन्यवाद देते हुए की, जिन्होंने उन्हें इस महत्वपूर्ण मंच पर अपना ज्ञान साझा करने का अवसर प्रदान किया। उनके व्याख्यान का मुख्य केंद्र शोध डिज़ाइन के महत्व पर था, जिसमें उन्होंने बताया कि एक सुव्यवस्थित शोध डिज़ाइन किस प्रकार अनुसंधान के परिणामों की विश्वसनीयता और वैधता को बढ़ाता है।
सत्र के प्रमुख बिंदु:
शोध डिज़ाइन का महत्व – एक व्यवस्थित दृष्टिकोण किस प्रकार शोध को स्पष्ट, सुसंगत और विश्वसनीय बनाता है।
शोध डिज़ाइन के प्रकार – अन्वेषणात्मक, वर्णनात्मक, प्रायोगिक और सहसंबंधात्मक डिज़ाइन का अवलोकन और उनके उपयुक्त अनुप्रयोग।
विभिन्न उपकरण और तकनीकें – गुणात्मक और मात्रात्मक पद्धतियों, डेटा संग्रह उपकरणों और डेटा विश्लेषण के सांख्यिकीय तरीकों की संक्षिप्त जानकारी।
शोध के दृष्टिकोण – आगमनात्मक एवं निगमनात्मक तर्क, मिश्रित विधियों और आधुनिक शोध में उनकी भूमिका पर चर्चा।
इस व्याख्यान को एफडीपी में भाग लेने वाले संकाय सदस्यों और शोधकर्ताओं द्वारा अत्यंत सराहा गया। शोध के जटिल विषयों को सरल और व्यावहारिक उदाहरणों के माध्यम से प्रस्तुत करने की डॉ. यादव की क्षमता ने सत्र को बेहद संवादात्मक और ज्ञानवर्धक बना दिया।
शेषाद्रिपुरम इवनिंग कॉलेज का यह अंतरराष्ट्रीय एफडीपी कार्यक्रम संकाय सदस्यों के कौशल विकास और ज्ञान विनिमय का एक प्रभावी मंच बना हुआ है। इस कार्यक्रम में डॉ. यादव का योगदान न केवल भागीदारों के लिए अत्यंत लाभदायक रहा, बल्कि इसने एफडीपी की शैक्षणिक गुणवत्ता को भी नई ऊंचाइयों तक पहुँचाया।