आज भी लोगो के दिलों में है यह ख्याल…ऐसे थे नपा अध्यक्ष अशोक जायसवाल…बहाई विकास की गंगा…जन्मदिन पर विशेष…
8 March 2022
अनूप बड़ेरिया//
कोरिया जिले की राजनीति में शांत, मधुर व सौम्य व्यवहार, मिलनसार व्यक्तित्व और सबको साथ लेकर चलने वाले किसी भी राजनेता की यदि की बात होगी तो सबके जहन में बस एक ही आएगा ख्याल…पूर्व नपा अध्यक्ष अशोक जायसवाल…
जी हाँ हम बात कर रहे हैं कोरिया जिले के बैकुंठपुर नगरपालिका के पूर्व अध्यक्ष अशोक जायसवाल की…जिनके व्यवहार व कार्य प्रणाली की जितनी प्रशंसा की जाए कम है…ग़रीब तबके के अशोक जायसवाल ने कड़ी मेहनत कर एक प्रतिष्ठित कांट्रेक्टर के साथ सफल नेता के रूप में अपनी पहचान बनाई है…पहली बार जब लगभग 11 साल पहले बैकुंठपुर नपा अध्यक्ष में अध्यक्ष पद के लिए दावेदारी के बाद भी जब टिकट नही मिला तो भी अशोक जायसवाल ने पार्टी के आदेश को हंस कर सर माथे पर लिया व धैर्यपूर्वक कांग्रेस के निष्ठावान सिपाही के रूप में पार्टी को मजबूत करने में लग गए। जिसका ईनाम उन्हें बीते नगरीय चुनाव में मिला और कांग्रेस ने उन्हें अध्यक्ष पद का दावेदार बनाया और अशोक पार्टी के भरोसे पर खरे उतरे व कांग्रेस को यह सीट उपहार स्वरूप दी।
नगरपालिका अध्यक्ष बनने के बाद से ही अशोक जायसवाल ने पारदर्शिता के साथ विकास कार्यों को अंजाम देना आरंभ किया व करोड़ो रूपये की सौगात शहर को दी। अशोक के निरंतर प्रयास और विकास कार्यों से उनकी विकास पुरुष के रूप में पहचान बन गई…इतना ही नही..
थे जो चेहरे मुरझाए-मुरझाए से अशोक की मौजूदगी ही उन चेहरों की मुस्कान बन गई है..
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अशोक जायसवाल के कार्यकाल की प्रमुख उपलब्धि नगरपालिका परिषद बैकुंठपुर को तालाब और चेर मुक्त्ति धाम सौंदर्यीकरण, 1 करोड़ 48 लाख शादी घर के लिए, पालिका बाजार के लिए करोड़ों स्वीकृत और सबसे महत्वपूर्ण जो आम लोगो के लिए सबसे आवश्यक है वह बैकुंठपुर पेयजल समस्या के निदान के लिए प्रमुख जलावर्धन योजना के लिए 33 करोड़ रुपए की राशि मिली। 3 करोड़ रुपए सड़क,नाली निर्माण व अन्य विकास कार्य किए गए। शहर के पार्क का सौंदर्यीकरण, मानस भवन, गांधी पार्क का जीर्णोद्धार, शहर के प्रमुख मार्गों व घड़ी चौक में इंटरलाकिंग सड़क, शहर के मुख्य मार्गों के साथ वार्डो की नियमित साफ-सफाई तो आम बात थी। इतना ही नही अशोक के कार्यकाल में कर्मचारियों को प्रति माह समय से वेतन और मानदेय मिला जिससे कर्मचारी भी काफी खुश थे क्योंकि इसके पहले कर्मचारियों का वेतन व मानदेय समय से नहीं मिलता था। इस तरह उनके कार्यकाल की विकासगाथा मील का पत्थर बन गई है जिसकी स्मृति अभी भी लोगों के मानस पटल पर है।
मंजिल को मुझे पाना है..अभी चलने का इरादा किया है..
नहीं मानूंगा हार मैं कभी भी..बस ये मैंने खुद से वादा किया है।
इसी इरादे के साथ अशोक जायसवाल ने इस नगरीय निकाय चुनाव में महिला आरक्षण की वजह से अपनी अर्धांगिनी श्रीमती साधना जायसवाल को कांग्रेस की टिकट पर पार्षद का चुनाव लड़वाया व एकतरफा जीत हासिल की। कांग्रेस ने अध्यक्ष पद के लिए अशोक जायसवाल पर एक बार फिर भरोसा जताया और पार्टी ने उनकी पत्नी साधना जायसवाल को अध्यक्ष पद का उम्मीदवार बनाया। लेकिन संख्या बल ज्यादा होने के बाद भी भितरघातियों की वजह से मामला टाई पर आया पर इस बार किस्मत ने उनके साथ दगा किया व भाजपा ने अध्यक्ष पद पर कब्जा कर लिया। इसके बाद भी अशोक जायसवाल ने अपने ऊपर भरोसा जताने के लिए पार्टी को धन्यवाद दिया व फिर कांग्रेस को मजबूत करने पूरे जी जान से लग गए…आज उनके जन्मदिन पर PAGE-11NEWSकी ओर से ढ़ेरो शुभकामनाएं व बधाई…आशा है कि..
मेहनत करोगे दिल से तो फिर..राहे आसान होगी.. मंजिल हासिल करोगे..तभी तो तेरी पहचान होगी.. बस हौसले को कभी भी कम मत होने देना.. देख लेना एक दिन आसमां से ऊंची तेरी उड़ान होगी…
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