मेरी जीत स्वर्गीय कुमार साहब को समर्पित-वेदान्ती तिवारी.. स्पष्ट परिणाम आते ही कुमार साहब की समाधि स्थल पर पुष्पांजलि दी वेदांती तिवारी ने.. जीत के बाद रैली नहीं निकाल दिखाया बड़प्पन.. कहा जीतने वाले भी अपने.. हारने वाले भी अपने..
मेरी जीत स्वर्गीय कुमार साहब को समर्पित-वेदान्ती तिवारी.. स्पष्ट परिणाम आते ही कुमार साहब की समाधि स्थल पर पुष्पांजलि दी वेदांती तिवारी ने.. जीत के बाद रैली नहीं निकाल दिखाया बड़प्पन.. कहा जीतने वाले भी अपने.. हारने वाले भी अपने..

अनूप बड़ेरिया
कोरिया जिले में चल रहे पंचायती चुनाव के लगभग स्पष्ट प्रणाम आ चुके हैं। पहले चरण में बैकुंठपुर विधानसभा के अंतर्गत सबसे हाई प्रोफाइल मानी जा रही जिला पंचायत सदस्य की सीट क्रमांक 7 से कांग्रेस पार्टी के ही निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में मैदान में उतरे वेदांती तिवारी लगभग 6947 मतों से चुनाव जीत गए उन्हें लगभग 13777 मत प्राप्त हुए। वेदांती ने भाजपा के अनिल साहू को पराजित किया।अनिल साहू को 6830 मत ही मिले। उल्लेखनीय है कि दो बार का विधानसभा चुनाव लड़ चुके वेदांती तिवारी को कांग्रेस ने टिकट नहीं दिया था। कांग्रेस ने यहां से जनपद उपाध्यक्ष अनिल जायसवाल को अपना प्रत्याशी बनाया था। बावजूद इसके सूबे के कद्दावर नेता वेदांती तिवारी ने भारी भरकम जीत हासिल कर एक बार फिर कांग्रेस संगठन को अपने निर्णय पर विचार करने को मजबूर कर दिया।
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स्पष्ट परिणाम आने के बाद जिला पंचायत के नवनिर्वाचित सदस्य वेदांती तिवारी अपने कुछ समर्थकों के साथ सीधे पैलेस के समीप मौहारी मैदान में बने कोरिया जिले के भाग्य विधाता व पूर्व मंत्री स्वर्गीय डॉ. रामचंद्र सिंह देव की समाधि स्थल पर पहुंचकर उन्हें पुष्पांजलि अर्पित कर श्रद्धांजलि दी। इस दौरान वेदांती तिवारी ने page-११ से कहा कि मेरी जीत स्वर्गीय कोरिया कुमार को समर्पित है और यह जीत उन्हीं को मेरी ओर से सच्ची श्रद्धांजलि दी है। उन्होंंने कहा कि स्व.रामचन्द्र सिंहदेव हम सबके आदर्श हैं और हम उन्ही के बताए मार्गो पर चलने की कोशिश कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि कुमार साहब हम सभी के दिलों में बसते हैं।
नही निकाला विजय जुलूस
वेदान्ती तिवारी की निर्णायक जीत के आंकड़े क्लियर होते ही उनके सैकड़ों समर्थक डीजे और आतिशबाजी के साथ 29 जनवरी की सुबह ही वेदान्ती के आवास पर जा पहुँचे। लेकिन उन्होंने आतिशबाजी करने व रैली निकालने यह कह कर मना कर दिया कि जो जीते हैं वो अपने और हारने वाले भी अपने हैं। इसलिए ऐसा कोई कार्य न हो जिससे किसी को तनिक भी ठेस लगे।
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